Saturday, September 14, 2024
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भगवंत मान बने ‘गुरु’ ,बाइल रिपेयर करने वाले ने मुख्यमंत्री चन्नी को हराया

पंजाब में आम आदमी पार्टी की सुनामी ने सभी पार्टियों को चित कर दिया है. विधानसभा चुनाव में सत्ता रूढ़ कांग्रेस के साथ साथ अकाली दल की भी बुरी हालत हो गई. यदि आपको याद हो तो साल 2005 में आयी ‘द ग्रेट इंडियन लाफ्टर चैलेंज’ में नवजोत सिंह सिद्धू जज की भूमिका में थे और भगवंत मान कंटेस्टेंट बनकर नजर आये थे. 17 साल बाद बाजी पलट गयी है.

अब 2022 का समय है जब भगवंत मान उन्हीं नवजोत सिंह सिद्धू के सामने मुख्यमंत्री बनने जा रहे हैं. इसे लेकर सोशल मीडिया पर सिद्धू का मजाक भी उड़ रहा है. अव्वल तो यह है कि खुद को मुख्यमंत्री का चेहरा मानने वाले सिद्धू अपनी सीट तक नहीं बचा पाये. राजनीति में आने से पहले भगवंत मान कई फिल्मों और कॉमेडी शोज में नजर आये हैं. सोशल मीडिया पर भी कई लोग इस वाकये को शेयर कर रहे हैं. इसी बीच कांग्रेस के पंजाब प्रदेश अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू ने हार को स्वीकार कर लिया है. उन्होंने ट्वीट कर आम आदमी पार्टी को जीत की बधाई दी है.

पैड वुमन’ से हारे नवजोत सिंह सिद्धू और शिअद के बिक्रम सिंह मजीठिया
अमृतसर पूर्व सीट पर ‘आप’ प्रत्याशी जीवन ज्योत कौर ने कांग्रेस से नवजोत सिंह सिद्धू और शिअद नेता बिक्रम सिंह मजीठिया को पटखनी दी है. जीवन ज्योत को ‘पैड वुमन ऑफ पंजाब’ के नाम से भी जाना जाता है. उन्होंने पंजाब के ग्रामीण क्षेत्रों में और महिला कैदियों को प्लास्टिक के सैनिटरी पैड के दुष्प्रभावों के बारे में जागरूक किया.

मोबाइल रिपेयर करने वाले ने मुख्यमंत्री चन्नी को हराया
सीएम चरणजीत सिंह चन्नी को एक मोबाइल रिपेयर करने वाली दुकान में नौकरी करने वाले लाभ सिंह उगोके ने 37,558 वोटों के बड़े अंतर से हरा दिया. उगोके की मां सरकारी स्कूल में सफाई कर्मचारी हैं.

बादल परिवार को लगा तगड़ा झटका
पंजाब विधानसभा चुनाव के परिणाम से बादल परिवार को तगड़ा झटका लगा है. तीन दशकों में यह पहली बार होगा कि 117 सदस्यीय पंजाब विधानसभा में बादल परिवार का कोई प्रतिनिधित्व नहीं होगा. प्रकाश सिंह बादल और उनके बेटे सुखबीर सिंह बादल दोनों चुनाव हार गये.

बसे बड़ी और सबसे छोटी जीत
पंजाब में मनसा में आम आदमी पार्टी के डॉ विनय सिंगला ने कांग्रेस के शुभदीप सिंह सिद्धू को 63,323 वोट से हराया. वहीं, डेरा बाबा नानक में कांग्रेस के सुखजिंदर सिंह रंधावा ने शिरोमणि अकाली दल के रविकरण सिंह कहलों को 466 वोट से हराया.